ेलामाइन की कीमतों में अचानक हुई वृद्धि ने लेमिनेट उद्योग में कोहराम मचा दिया है। हालात ने लाइनर ग्रेड लेमिनेट को सबसे ज्यादा प्रभावित किया है। लाइनर काफी कम मार्जिनपर बेचा जाता है और बढ़ती इनपुट कॉस्ट में उसे कोई राहत नहीं है। सर्वे के अनुसार, मेलामाइन की कीमत 325 रुपये से अधिक है, इसलिए लेमिनेट इकाइयों में मेलामाइन का संकट गहरा गया है।
अभी समाचार लिखे जाने तक मेलामाइन के उपलब्ध स्टॉक से प्लांट कुछ और दिनों तक ही चल पाएंगे। कहा जा रहा है कि आने वाले समय में यदि मेलामाइन की उपलब्धता में सुधार नहीं हुआ तो बड़ी संख्या में लेमिनेट उद्योग अपना कामकाज आंशिक रूप से बंद करने की स्थिति में आ सकते हैं।
लाइनर ग्रेड लेमिनेट का बाजार कम मार्जिन पर काम करता है जिसमें इसकी कीमत उस अनुपात में बढ़ाने की क्षमता नहीं है जिस अनुपात में कच्चे माल की कीमत बढ़ रही है, परिण् ाामस्वरूप बड़ी मात्रा में लाइनर ग्रेड (आधा या उससे भी अधिक) यूनिटों में उत्पादन में गिरावट के कारण सप्लाई में कमी आई है।
उद्योग के जानकारों के मुताबिक मेलामाइन का संकट अगले एक से दो महीने तक रहने की संभावना है, जिससे लेमिनेट उद्योग काफी हद तक प्रभावित हो सकता है। मेलामाइन के आयातक और आपूर्तिकर्ता प्लाई रिपोर्टर से कहते हैं कि आने वाले समय में संकट और गहरा सकता है क्योंकि मेलामाइन का आयात बहुत धीमा और कम मात्रा में है। हालांकि, घरेलू उद्योगों में उत्पादन अच्छा है, लेकिन मेलामाइन की जरूरी मात्रा से कम है, जिससे कीमतों में वृद्धि के बावजूद मेटेरियल की उपलब्धता में बाधा आ रही है।